Jim Corbett National Park | जिम कार्बेट राष्ट्रिय उद्यान
Jim Corbett National Park : जिम कार्बेट राष्ट्रिय उद्यान भारत का सबसे महत्वपूर्ण राष्ट्रिय उद्यान है यह राष्ट्रिय भारत का सबसे प्राचीन राष्ट्रिय उद्यान है | यह भारत का सबसे प्रथम राष्ट्रिय उद्यान है | यह राष्ट्रिय उद्यान भारत ही नही बल्कि पूरी दुनिया के लिए वन्य जीवो कि दृष्टि काफी महत्वपूर्ण है | जिम कार्बेट राष्ट्रिय उद्यान उन लोगो के लिए रोमांचित कर देने वाली जगह है जो वन्य जीवो में अपनी अभिरुचि रखते है | हर दिन इस राष्ट्रिय उद्यान में घुमने के लिए सैकड़ो सैलानी आते है | यह राष्ट्रिय उद्यान वन्यजीवों कि दृष्टि से भारत के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण है |
जिम कार्बेट राष्ट्रिय उद्यान भारत का सबसे प्रथम राष्ट्रिय उद्यान है , इसे टाइगर रिजर्व के रूप में भी जाना जाता है | यह राष्ट्रिय उद्यान भारत के उतराखंड राज्य में स्थित है | यह राष्ट्रिय उद्यान करीब 520 वर्ग किलोमीटर में फैला हुआ है | इस राष्ट्रिय उद्यान से रामगंगा नदी होकर गुजरती है | इस कारण इस उद्यान को पहले रामगंगा राष्ट्रिय उद्यान भी कहा जाता था |
जिम कार्बेट राष्ट्रिय उद्यान कि स्थापना
जिम कार्बेट राष्ट्रिय उद्यान भारत का बहुत ही महत्वपूर्ण राष्ट्रिय उद्यान है | इस राष्ट्रिय उद्यान को वन्यजीवों के लिए स्वर्ग माना जाता है | इस राष्ट्रिय उद्यान में कई दुर्लभ वन्य प्राणियों और पक्षियों को संरक्षण प्रदान किया गया है | इस राष्ट्रिय उद्यान का इतिहास सन 1900 से ही समृद्ध है | इसे साल 1907 में रामगंगा नदी के किनारे स्थित वन को ब्रिटिश शासन के द्वारा आरक्षित वन घोषित किया गया | इसके बाद इस राष्ट्रिय उद्यान को साल 1936 में संयुक्त राष्ट्र के गवर्नर मैकलम हैली के नाम पर इसका नाम हैली राष्ट्रिय उद्यान रखा गया इस तरह इसे राष्ट्रिय उद्यान का दर्जा प्राप्त हुआ |
इस राष्ट्रिय उद्यान को इसके बाद साल 1947 में इस राष्ट्रिय उद्यान का नाम बदलकर रामगंगा राष्ट्रिय उद्यान कर दिया गया | इसके बाद साल 1955 में इस राष्ट्रिय उद्यान का नाम बदलकर जिम कार्बेट राष्ट्रिय उद्यान कर दिया गया | यह राष्ट्रिय उद्यान साल 1973 में चलाये जाने वाले प्रोजेक्ट टाइगर में शामिल होने वाले राष्ट्रिय उद्यानों में से एक था | यह प्रोजक्ट भारत सरकार द्वारा बंगाल टाइगर को बचाने के लिए चलाया जाने वाला संरक्षण कार्यक्रम था | इस राष्ट्रिय उद्यान को जिम कार्बेट टाइगर रिजर्व के नाम से भी जाना जाता है |
जिम कार्बेट राष्ट्रिय उद्यान कौन से नदी के किनारे स्थित है ?
जिम कार्बेट राष्ट्रिय उद्यान भारत का सबसे पुराना राष्ट्रिय उद्यान है | इस राष्ट्रिय उद्यान को भारत का सबसे प्रथम राष्ट्रिय कहा जाता है | इस रष्ट्रीय उद्यान को टाइगर रिजर्व के रूप में भी जाना जाता है | इस राष्ट्रिय उद्यान को पहले नाम हैली राष्ट्रिय उद्यान के नाम से भी जाना जाता था | यह राष्ट्रिय उद्यान भारत कि सबसे प्रमुख और पवित्र नदी गंगा नदी कि एक सहायक नदी रामगंगा गंगा नदी इस राष्ट्रिय उद्यान से होकर बहती है | इस कारण से साल 1907 से इसे रामगंगा राष्ट्रिय उद्यान के नाम से जाना जाता था |
जिम कार्बेट राष्ट्रिय उद्यान में कौन कौन से वन्यजीवों पाए जाते है ?
यह राष्ट्रिय उद्यान भारत का सबसे प्रथम राष्ट्रिय उद्यान है जिसे साल 1936 में राष्ट्रिय उद्यान के रूप में मान्यता मिल गयी थी | यह राष्ट्रिय उद्यान मुख्य रूप बे बाघों कि अधिकता के लिए पूरी भारत में प्रसिद्ध है | इस राष्ट्रिय उद्यान को टाइगर रिजर्व के रूप में भी जाना जाता है | इस राष्ट्रिय उद्यान में 50 से भी अधिक जानवरों कि प्रजाति और करीब 600 पक्षियों कि प्रजातीय पायी जाती है | इस राष्ट्रिय उद्यान में रॉयल बंगाल टाइगर , मगरमच्छ , तेंदुआ मुख्य आकर्षण का केंद्र है |
इसके अलवा इस राष्ट्रिय उद्यान में कई अन्य जीवो को भी संरक्षण दिया गया है जिनमे भालू, हिरन , चीतल , हाथी , साम्भर , पैगोलिन , लंगूर , हिमालयी काले भालू , काले हिरन , घड़ियाल , भारतीय ग्रे नेवला आदि यहाँ पाए जाने वाले प्रमुख जानवर है | जो पुरे देश के लोगो के लिए मुख्य आकर्षण का केंद्र है | इस राष्ट्रिय उद्यान को इन जीवो के एक स्वर्ग भी कहा जा सकता है |
इस राष्ट्रिय उद्यान में कई तरह कि पक्षी भी पाए जाते है | प्राप्त जानकरी के अनुसार इस राष्ट्रिय उद्यान में करीब 600 से भी अधिक पक्षियों के प्रजातिया पायी जाती है | इस राष्ट्रिय उद्यान को पक्षी उद्यान कहा जाये तो शायद गलत नही होगा | इस राष्ट्रिय उद्यान में कई तरह कि पक्षी भी पाए जाते है जिनमे इगल , वल्चर , भारतीय उल्लू , हिमालयन वल्चर , लेसर , ग्रेटर स्पॉटेड ईगल , तोता , होक ईगल , इंडियन शिकरा आदि शामिल है |
कौन थे जिम कार्बेट ?
जिम कार्बेट भारत के एक बहुत ही मशहूर शिकारी थे | इनका जन्म 25 जुलाई 1873 में हुआ था | इनका जन्म उत्तरखंड के नैनीताल में एक अंग्रेज वंश में हुआ था | उन्होंने अपना पूरा बचपन आसपास में स्थित जंगलो में खोजबीन में ही बिता दिया | उन्होंने घने जंगलो में घूमकर वहां के हर एक रास्तो कि गहरी जानकरी | वे बहुत बहुत अच्छे शिकारी भी थे| उन्ही के नाम पर इस हैली राष्ट्रिय उद्यान का नाम बदलकर जिम कार्बेट राष्ट्रिय उद्यान रखा गया | उनके नाम 19 बाघों और 14 तेन्दुओ को मारने का रिकॉर्ड दर्ज है |
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