Air Quality India 2025 : IQ एयर 2024 रिपोर्ट के अनुसार दुनिया के सबसे अधिक प्रदूषित शहरो में 13 तो भारत के है
भारत (India) जो की एक महान देश है और यहाँ के लोग भी बहुत अच्छे है | लेकिन प्रदुषण (pollution) के मामले में थोड़ी कमजोरी कर देते है बात अगर देश की रक्षा की हो तो सब आगे आ जाते है लेकिन देश को साफ़ रखने की बात आये तो वही अधिकतर लोग पीछे हट जाते है | और देश तभी सुन्दर होगा जब सभी लोग धीरे-धीरे अपने क्षेत्र से प्रयास करेंगे | क्योंकि देश सभी का तभी भारत और महान बनेगा |

Air Quality Report
Air Quality India 2025 : अभी हाल ही में स्विस एयर क्वालिटी टेक्नोलॉजी कंपनी (Swiss Air Quality Technology Company) IQ एयर क्वालिटी 2024 (Air Quality India ) की एक रिपोर्ट सामने आई है जिसमे बताया गया है की दुनिया के सबसे अधिक 20 प्रदूषित क्षेत्रो में 13 तो भारत के ही है इससे यह पता चलता है भारत में कितना प्रदुषण (pollution in india) है और कितनी तेजी के साथ बढ़ रहा है |
इस लिस्ट में मेघालय का बर्निहात शहर पहले नंबर पर है | और दूसरी ओर चौकाने वाली बात यह है दिल्ली जो भारत की राजधानी है वह सबसे प्रदूषित राजधानी में पहले नंबर पर है | सोचने वाली बात है जहाँ देश के प्रमुख नेता रहते है, राष्ट्रपति, प्रधानमन्त्री, गृह मंत्री, रक्षा मंत्री रहते है वही शहर इतना प्रदूषित हो रहा है लेकिन असल में जमीनी स्तर पर ध्यान नहीं जा रहा है |

इस रिपोर्ट (air quality report ) के अनुसार भारत दुनिया के सबसे प्रदूषित देशो की सूची में पांचवा स्थान पर है | खैर एक राहत की बात यह है की 2023 में भारत तीसरे स्थान पर था लेकिन 5 वां स्थान भी कोई अच्छा नहीं है इससे पता चलता है की जो भारत से बड़े देश भी है वो स्वच्छ है भारत भी हो सकता है बस सही से काम और सही रणनीति की आवश्यकता है |
Air Quality India : 2024 में PM का स्तर 2.5 (50.6 माइक्रोग्राम प्रति क्यूबिक मीटर ) था जबकि 2023 में यह 54.4 माइक्रोग्राम प्रति क्यूबिक मीटर था | दिल्ली में प्रदुषण का आंकड़ा सबसे ख़राब है यहाँ हाई लेवल पर प्रदुषण है | यहाँ PM 2.5 (91.6) माइक्रोग्राम प्रति क्यूबिक मीटर सालाना दर्ज किया गया है |
दुनिया का सबसे साफ़ देश या क्षेत्र की बात की जाये तो ओशिनिया है | यहाँ के 57 प्रतिशत शहर है जो WHO के दिशानिर्देशो का पालन करते है | PM 2.5 का हवा में मौजूद होना याने की 2.5 माइक्रान से छोटे कणों को प्रदुषण कण कहा जाता है और ये कण फेफड़े और रक्त में प्रवेश कर जाते है | और इससे सांस लेने में तकलीफ होती है , फेफड़े की बीमारी भो हो सकती है | और इन सबका सबसे बड़ा कारण उद्योग और गाड़ियाँ , कोयला खनन से पेड़-पौधों का नुकसान भी है और अस्वच्छता भी है | इसलिए देश को और भी सुन्दर और साफ़ बनाना है तो पेड़-पौधों को बचाना होगा और सही रणनीति बनाई होगी |
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